Chhattisgarh | Claims of both Congress and BJP parties after the second phase of voting
रायपुर। पीएम नरेंद्र मोदी के खिलाफ की गई टिप्पणी को लेकर छत्तीसगढ़ की सियासत गरमाई हुई है। बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष किरण सिंहदेव ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज के प्रधानमंत्री और भाजपा पर की गई टिप्पणी को लेकर निशाना साधा है। उन्होंने इसे कांग्रेसियों की असंतुलित मनोदशा, हताशा और कांग्रेस टिकट कट जाने से उपजी कुंठा का राजनीतिक प्रलाप बताया है। सिंहदेव ने कहा कि प्रधानमंत्री की मानसिक स्थिति को खराब बताने वाले कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष बैज दरअसल कांग्रेस के तमाम लोगों की मनोदशा को रेखांकित कर रहे हैं, जिसके नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत अपने ही प्रत्याशियों को लठैत बताकर प्रधानमंत्री मोदी का सिर फोड़ने की बात करते हैं तो कभी कांग्रेस प्रत्याशी कवासी लखमा ‘कवासी जीतेगा, मोदी मरेगा’ कहकर अपने राजनीतिक चरित्र का प्रदर्शन करते हैं।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि कांग्रेस ने सनातन संस्कृति, हिन्दुत्व और भगवान राम के प्रति अपनी घृणा का हर कदम पर प्रदर्शन किया है, जिस कांग्रेस ने राममंदिर निर्माण में हर बार रोड़े अटकाकर इस मसले को भटकाने और लटकाने काम किया। जिस कांग्रेस ने प्रभु श्रीरामलला की प्राण-प्रतिष्ठा का न्योता ठुकराकर भगवान राम के ननिहाल और मां शबरी की धरती छत्तीसगढ़ की आस्था और भावनाओं का घोर अपमान किया, उस कांग्रेस की ओर से तुष्टीकरण के एजेंडे पर चलकर देश के संसाधनों पर पहला हक संप्रदाय विशेष का बताने वाली कांग्रेस के राजनीतिक चरित्र को जनता अच्छी तरह परख चुकी है और इसीलिए हर तरीके के हथकण्डे अपनाने के बावजूद कांग्रेस लोकसभा चुनाव के लिए सम्पन्न हुए दो चरणों मतदान में बुरी तरह पिछड़ चुकी है।
सिंहदेव ने कहा कि मतदान के दो चरणों में देश सहित छत्तीसगढ़ में भाजपा को मिली ऐतिहासिक बढ़त एवं कांग्रेस नेताओं की ओर से कांग्रेस छोड़े जाने से कांग्रेसी खुद अपना मानसिक संतुलन खो बैठे हैं। इस बार कांग्रेस का कोई हथकंडा काम नहीं कर रहा है, इसलिए भी वे ऊलूजलूल बयान देकर चुनावी वातावरण को खराब करने में लगे हुए हैं। दरअसल, कांग्रेस की तुष्टीकरण की राजनीति भी अब पूरी तरह बेनकाब हो चुकी है और जनता अब कांग्रेस से घृणा करने लगी है। कांग्रेस के चुनाव घोषणा पत्र में किए गए झूठे वादों की तो पोल कांग्रेसी खुद ही खोल रहे हैं। महिलाओं से फार्म भरवाए जाने को फर्जी बताते हुए बस्तर के जिला कांग्रेस अध्यक्ष का लिखा पत्र इसका प्रमाण है।